Diwali 2025: दिवाली खुशियों और रोशनी का त्योहार है, लेकिन इस दिन एक छोटी सी लापरवाही बड़ी मुसीबत भी बन सकती है. हर साल कई जगहों से वाहन जलने की घटनाएं सामने आती हैं, जब किसी की कार के ऊपर पटाखा गिर जाता है या बाइक के पास जलती फुलझड़ी आग पकड़ लेती है. ऐसे में सबसे बड़ा सवाल यही उठता है कि क्या ऐसे नुकसान पर इंश्योरेंस क्लेम मिल सकता है या नहीं? आइए जान लेते हैं.
कब मिल सकता है इंश्योरेंस
अगर आपकी कार या बाइक कंप्रीहेंसिव इंश्योरेंस पॉलिसी के अंतर्गत आती है, तो आपको पटाखों से लगी हुई आग या विस्फोट से हुए नुकसान का दावा करने का अधिकार होता है. यह पॉलिसी वाहन को फायर, एक्सप्लोजन, लाइटनिंग, सेल्फ-इग्निशन और बाहरी कारणों से हुए नुकसान से सुरक्षा देती है. यानी अगर आपकी गाड़ी गलती से पटाखे की चिंगारी से जल गई है, तो इंश्योरेंस कंपनी इसकी भरपाई कर सकती है.
कब नहीं मिलेगा मुआवजा
हालांकि, अगर आपके पास सिर्फ थर्ड पार्टी इंश्योरेंस है, तो आपको कोई मुआवजा नहीं मिलेगा. थर्ड पार्टी पॉलिसी केवल किसी दूसरे व्यक्ति को हुए नुकसान या चोट को कवर करती है, आपकी गाड़ी के नुकसान को नहीं कवर करती है.
कैसे करें क्लेम?
क्लेम मिलने के लिए जरूरी है कि घटना के बाद आप तुरंत फोटो और वीडियो प्रूफ तैयार करें और इंश्योरेंस कंपनी को तुरंत सूचना दें. जरूरत पड़ने पर एफआईआर या फायर ब्रिगेड रिपोर्ट की कॉपी भी देनी पड़ सकती है. इंश्योरेंस कंपनी अपनी जांच के बाद ही तय करेगी कि नुकसान प्राकृतिक दुर्घटना था या लापरवाही का नतीजा था.
कब रिजेक्ट हो जाएगा क्लेम?
अगर यह साबित होता है कि आग आपकी गलती या लापरवाही से लगी जैसे कि आपने गाड़ी के पास पटाखे जलाए, या जानबूझकर घटना कराई, तो क्लेम रिजेक्ट भी किया जा सकता है. इसी तरह, अगर आपने गाड़ी को ऐसे एरिया में पार्क किया था जहां नो पार्किंग या खतरे की चेतावनी थी, तब भी इंश्योरेंस कंपनी भुगतान से इनकार कर सकती है.
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निधि पाल को पत्रकारिता में छह साल का तजुर्बा है. लखनऊ से जर्नलिज्म की पढ़ाई पूरी करने के बाद इन्होंने पत्रकारिता की शुरुआत भी नवाबों के शहर से की थी. लखनऊ में करीब एक साल तक लिखने की कला सीखने के बाद ये हैदराबाद के ईटीवी भारत संस्थान में पहुंचीं, जहां पर दो साल से ज्यादा वक्त तक काम करने के बाद नोएडा के अमर उजाला संस्थान में आ गईं. यहां पर मनोरंजन बीट पर खबरों की खिलाड़ी बनीं. खुद भी फिल्मों की शौकीन होने की वजह से ये अपने पाठकों को नई कहानियों से रूबरू कराती थीं.
अमर उजाला के साथ जुड़े होने के दौरान इनको एक्सचेंज फॉर मीडिया द्वारा 40 अंडर 40 अवॉर्ड भी मिल चुका है. अमर उजाला के बाद इन्होंने ज्वाइन किया न्यूज 24. न्यूज 24 में अपना दमखम दिखाने के बाद अब ये एबीपी न्यूज से जुड़ी हुई हैं. यहां पर वे जीके के सेक्शन में नित नई और हैरान करने वाली जानकारी देते हुए खबरें लिखती हैं. इनको न्यूज, मनोरंजन और जीके की खबरें लिखने का अनुभव है. न्यूज में डेली अपडेट रहने की वजह से ये जीके के लिए अगल एंगल्स की खोज करती हैं और अपने पाठकों को उससे रूबरू कराती हैं.
खबरों में रंग भरने के साथ-साथ निधि को किताबें पढ़ना, घूमना, पेंटिंग और अलग-अलग तरह का खाना बनाना बहुत पसंद है. जब ये कीबोर्ड पर उंगलियां नहीं चला रही होती हैं, तब ज्यादातर समय अपने शौक पूरे करने में ही बिताती हैं. निधि सोशल मीडिया पर भी अपडेट रहती हैं और हर दिन कुछ नया सीखने, जानने की कोशिश में लगी रहती हैं.
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