'खतरनाक तूफानों का सामना करने के लिए रहो तैयार', जानें ट्रंप के टैरिफ से निपटने का चीन का जिनपिंग वाला प्लान

चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने चेतावनी दी है कि देश एक ऐसे समय में प्रवेश कर रहा है जहां रणनीतिक अवसरों के साथ-साथ जोखिम और चुनौतियाँ भी बढ़ रही हैं, जबकि दुनिया में अनिश्चितता और अप्रत्याशित कारक तेजी से बढ़ रहे हैं. यह बयान उस समय आया जब चीनी कम्युनिस्ट पार्टी ने अपने अगले पांच वर्षीय विकास योजना (2026–2030) के ढांचे को मंजूरी दी.

शी जिनपिंग की सीधी निगरानी में बनी नई विकास योजना
‘साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट (SCMP)’ की रिपोर्ट के अनुसार, यह नई योजना पूरी तरह शी जिनपिंग की अगुवाई में तैयार की गई है. उन्होंने खुद ड्राफ्टिंग टीम का नेतृत्व किया और सभी संशोधनों और विचार-विमर्श की देखरेख की. इस योजना को बीजिंग में हुए कम्युनिस्ट पार्टी के चौथे पूर्ण अधिवेशन में मंजूरी दी गई. शी ने वरिष्ठ अधिकारियों से कहा कि चीन को इस ‘महत्वपूर्ण अवसर की खिड़की’ का उपयोग कर अपनी ताकत बढ़ानी चाहिए, कमजोर कड़ियों को सुधारना चाहिए और अंतरराष्ट्रीय प्रतिस्पर्धा में बढ़त हासिल करनी चाहिए.

 तकनीक, अंतरिक्ष और अर्थव्यवस्था पर फोकस
इस बैठक में तय किया गया कि चीन अब तकनीकी नवाचार, अंतरिक्ष विकास, जनसंख्या सुधार और आर्थिक पुनर्गठन पर जोर देगा. विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री यिन हेंगजुन ने कहा कि देश ने तकनीकी निवेश में काफी बढ़ोतरी की है, और आने वाले वर्षों में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) को विकास का मुख्य इंजन बनाया जाएगा. AI और कंप्यूटिंग पावर के साथ-साथ, सरकार ने कड़े नियमन और नैतिक मानकों को भी जरूरी बताया.

पहली बार अंतरिक्ष क्षेत्र शीर्ष प्राथमिकता में
इस बार चीन ने पहली बार स्पेस सेक्टर को ‘टॉप प्रायोरिटी’ घोषित किया है. इसमें न्यूक्लियर फ्यूजन, एडवांस मैन्युफैक्चरिंग और क्वांटम टेक्नोलॉजी जैसे क्षेत्रों में बड़े निवेश की योजना है. नेशनल डेवलपमेंट एंड रिफॉर्म कमीशन के प्रमुख झेंग शांजिए ने बताया कि नई योजना से चीन को करीब 10 ट्रिलियन युआन के नए बाजार अवसर मिलने की उम्मीद है.

जनसंख्या और सामाजिक सुधार भी एजेंडे में
नई योजना में चीन ने ‘जन्म के अनुकूल समाज’ बनाने की बात दोहराई है. सरकार बच्चों की देखभाल, शिक्षा और बुजुर्गों की सेवाओं में सुधार लाने पर काम करेगी. इसके साथ ही, सेवानिवृत्ति की उम्र धीरे-धीरे बढ़ाने का भी प्रावधान होगा. चीन अब भी दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था है, लेकिन उसके सामने कई गंभीर चुनौतियां हैं.

अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप की वापसी के बाद टैरिफ और तकनीकी पाबंदियों ने चीन की निर्यात क्षमता पर दबाव बढ़ा दिया है. हालांकि चीन ने दक्षिण-पूर्व एशिया की ओर व्यापार मोड़ने की कोशिश की है, लेकिन इलेक्ट्रिक वाहन और सोलर पैनल जैसे उद्योगों में अधिक उत्पादन की समस्या बनी हुई है.

तूफानी दौर के लिए तैयार रहें – शी जिनपिंग
प्लेनम के बाद जारी बयान में चीन ने कहा कि उसे ‘तेज हवाओं, ऊबड़-खाबड़ लहरों और खतरनाक तूफानों’ का सामना करने के लिए तैयार रहना होगा. यह चेतावनी ऐसे समय में आई है जब शी जिनपिंग की APEC सम्मेलन में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप से मुलाकात होने वाली है, जहां रेयर अर्थ एक्सपोर्ट और सेमीकंडक्टर प्रतिबंधों पर चर्चा होगी. इस बैठक में शी जिनपिंग की पार्टी में सत्ता पर पकड़ को और मजबूत किया गया. उन्होंने सैन्य नेतृत्व में बड़े बदलाव किए. कई शीर्ष जनरलों को हटाया गया, जिनमें पूर्व उपाध्यक्ष हे वेइडोंग भी शामिल हैं. उनकी जगह जनरल झांग शेंगमिन को प्रमोट किया गया, जो सेना की एंटी-करप्शन बॉडी के प्रमुख हैं.

आत्मनिर्भरता और स्थिर विकास पर जोर
विश्लेषकों का कहना है कि नई पांच वर्षीय योजना में तकनीकी आत्मनिर्भरता, राजनीतिक स्थिरता और आर्थिक सुधार पर जोर दिया गया है. शी जिनपिंग अब एक कठिन संतुलन साधने की कोशिश कर रहे हैं. आर्थिक सुस्ती से निपटना, लोगों का भरोसा बहाल करना और वैश्विक स्तर पर चीन की ताकत बनाए रखना.

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